आस्तिक्य का अर्थ
[ aasetikey ]
आस्तिक्य उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञाउदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- आस्तिक्य : (श्रद्धा) श्रद्धा तर्क और विवाद से बढ़कर है।
- आस्तिक्य - जीवन में निराशा मिटा कर आत्मविशवास भरने का गुण।
- आस्तिक्य : ( श्रद्धा ) श्रद्धा तर्क और विवाद से बढ़कर है।
- मानव- जीवन का सर्वोत्कृष्ट साफल्य और बहुमूल्य निधि आस्तिक्य का यही मूल स्रोत है ।।
- आस्तिक्य वह शक्ति है , जो हमें पाप कर्म की ओर जाने से रोकती है ।।
- सम्यक्त्व के पांच लक्षण हैं शम , संवेग , निर्वेद , अनुकम्पा और आस्तिक्य यानी धर्म श्रद्धा।
- ( दक्षिणा) दक्षिणा से, चतुरता याकुशलता से, (श्रद्धाम्) श्रद्धा को, आस्तिकता या आस्तिक्य वुद्धि को (आप्नोति) प्राप्त होता है.
- श्रद्धा का अर्थ है-- श्रत् ( सत्य) को, धा-धारण करना. अतः श्रद्धाका अर्थ होता है-- आस्तिकता या आस्तिक्य वृद्धि.
- जीव-अजीव आदि तत्त्वों के अस्तित्व मात्र को मानने से शुद्ध आस्तिक्य है , ऐसा नहीं माना जा सकता।
- परंतु जीव-अजीव आदि तत्त्व जैसे-जैसे स्वरूप वाले हैं , उस-उस स्वरूप वाले जीव-अजीव आदि तत्त्वों को मानना , यह शुद्ध आस्तिक्य है।