वैवर्ण्य का अर्थ
[ vaiverney ]
वैवर्ण्य उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञा- वर्णांधता रोग का एक प्रकार जिसमें पासवाले दो रंगों में फर्क करना मुश्किल हो जाता है:"विवर्णता के कारण वह लाल और गुलाबी को कभी-कभी एक ही रंग समझ बैठता है"
पर्याय: विवर्णता
उदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- विप्रलम्भ में वैवर्ण्य आदि थोड़े से सात्त्विकों का कहीं कहीं
- विप्रलम्भ में वैवर्ण्य आदि थोड़े से सात्त्विकों का कहीं कहीं आभास मिलता है।
- सात्विक अनुभाव : अर्थात (अनिच्छित)आठ भेद हैं - स्तंभ, स्वेद, रोमांच, स्वरभंग, वेपथु (कम्प), वैवर्ण्य, अश्रु और प्रलय।
- सात्विक अनुभाव : अर्थात (अनिच्छित)आठ भेद हैं - स्तंभ, स्वेद, रोमांच, स्वरभंग, वेपथु (कम्प), वैवर्ण्य, अश्रु और प्रलय।
- सात्विक अभिनय तो उन भावों का वास्तविक और हार्दिक अभिनय है जिन्हें रस सिद्धांतवाले सात्विक भाव कहते हैं और जिसके अंतर्गत , स्वेद, स्तंभ, कंप, अश्रु, वैवर्ण्य, रोमांच, स्वरभंग और प्रलय की गणना होती है।
- सात्विक अभिनय तो उन भावों का वास्तविक और हार्दिक अभिनय है जिन्हें रस सिद्धांतवाले सात्विक भाव कहते हैं और जिसके अंतर्गत , स्वेद, स्तंभ, कंप, अश्रु, वैवर्ण्य, रोमांच, स्वरभंग और प्रलय की गणना होती है।