साश्रु का अर्थ
[ saasheru ]
साश्रु उदाहरण वाक्य
परिभाषा
विशेषण- जो अश्रु से भरा हुआ हो:"उसकी रामकहानी सुनकर मेरी आँखें अश्रुपूर्ण हो गयीं"
पर्याय: अश्रुपूर्ण, सजल, डबडबा, डबकौंहाँ, डभकौंहाँ, अश्रुयुक्त, अश्रुपूरित
- आँखों में आँसू भरकर:"रमेश साश्रु अपनी व्यथा सुना रहा था"
उदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- दिल्ली की जनता नैराश्यभाव से साश्रु इस हृदयविदारक दृश्य को देख रही थी ।
- भागवत कथा में जब शास्त्री जी साश्रु इस कथा को सुनाते थे तब प्रौढ श्रोताओं के साथ हम बच्चे भी रोने लगते थे ।
- तुम्हें फूल का खिलना भाता मुझे सुहाता मुरझाना , तुम्हें न भाते साश्रु नयनमुझको न सुहाता मुस्काना ! तुम पूनम की सुघर चाँदनीपर बलि-बलि जाते साथी,मुझको शांत अमावस्या का भाता है यह सूना बाना !उदित सूर्य की स्वर्ण रश्मियाँ तुम्हें मधुर कुछ दे जातीं,मुझे क्षितिज...
- तुम्हें फूल का खिलना भाता मुझे सुहाता मुरझाना , तुम्हें न भाते साश्रु नयनमुझको न सुहाता मुस्काना ! तुम पूनम की सुघर चाँदनीपर बलि-बलि जाते साथी,मुझको शांत अमावस्या का भाता है यह सूना बाना !उदित सूर्य की स्वर्ण रश्मियाँ तुम्हें मधुर कुछ दे जातीं,मुझे क्षितिज
- कहानी रुकी नहीं हम अनदेखा करते गये , होनी थी कि टली नहीं मोड़ ले कर आगे बढ़ गई, कहानी रुकी नहीं विकट पगडंडियाँ थी और घूप थी तेज हम प्यासे रह गये पनिहारिन थी कि रुकी नहीं बहती रही पुरवाई, और भीगती गई पलकें साश्रु नयनों से पर एक भी आँसू टपका नहीं हवाओं
- कहानी रुकी नहीं हम अनदेखा करते गये , होनी थी कि टली नहीं मोड़ ले कर आगे बढ़ गई, कहानी रुकी नहीं विकट पगडंडियाँ थी और घूप थी तेज हम प्यासे रह गये पनिहारिन थी कि रुकी नहीं बहती रही पुरवाई, और भीगती गई पलकें साश्रु नयनों से पर एक भी आँसू टपका नहीं हवाओं...