औढरदानी का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- आशुतोष और औढरदानी होने के कारण वे शीघ्र प्रसन्न होकर अपने भक्तों के संपूर्ण दोषों को क्षमा कर देते हैं तथा धर्म , अर्थ, काम, मोक्ष, ज्ञान-विज्ञान के साथ अपने आपको भी दे देते हैं।
- डर रहा हूँ कि ‘ उस ' उदारमना , औढरदानी ने कभी पूछ लिया - ‘ मैंने अपने आपको तुम पर न्यौछावर कर दिया , तुम्हें दासता से मुक्ति दिला दी , तुम स्वाधीन हो गए।
- डर रहा हूँ कि ‘ उस ' उदारमना , औढरदानी ने कभी पूछ लिया - ‘ मैंने अपने आपको तुम पर न्यौछावर कर दिया , तुम्हें दासता से मुक्ति दिला दी , तुम स्वाधीन हो गए।
- दो . . ती न. . चा र. . पाँ च. ... ' गिनती हुई , ‘ मुक्त-मन , मुक्त-हस्त ' से , औढरदानी बन , उबलती चाय में शकर डाल देती हैं और जब तसल्ली हो जाती है कि हाँ , अब शकर घुल भी गई और उबल भी गई - तो तसल्ली से , ‘ सेठाणी के ठसके और माँ की फिकर से ' चाय छान कर कप थमाती हुई कहती हैं - ‘ बात तो तेरी बिलकुल ठीक है विष्णु ! लेकिन बिना शकर की चाय , चाय नहीं होती।
- दो . . ती न. . चा र. . पाँ च. ... ' गिनती हुई , ‘ मुक्त-मन , मुक्त-हस्त ' से , औढरदानी बन , उबलती चाय में शकर डाल देती हैं और जब तसल्ली हो जाती है कि हाँ , अब शकर घुल भी गई और उबल भी गई - तो तसल्ली से , ‘ सेठाणी के ठसके और माँ की फिकर से ' चाय छान कर कप थमाती हुई कहती हैं - ‘ बात तो तेरी बिलकुल ठीक है विष्णु ! लेकिन बिना शकर की चाय , चाय नहीं होती।