क़रीना का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- न अज़ाब उतरने की कोई निशानी थी , न क़रीना , कि पहले से अगाह होते . अचानक आ गया .
- 229 - जिसकी तरफ़ रोज़ी का रूख़ हो उसके साथ शरीक हो जाओ के यह दौलतमन्दी पैदा करने का बेहतरीन ज़रिया और ख़ुश नसीबी का बेहतरीन क़रीना है।
- हाथ का पत्थर किनारे रख दिया तब से जीने का क़रीना आ गया . .... हर शेर उम्दा है ........क्यों लिखी, कैसे लिखी ये बताकर आपकी खूबसूरत ग़जल रोचक भी बन गयी !
- तफ़्सीर बिर्राय यानी अपने शख़्सी या गिरोही अक़ीदह या नज़रिये के मुताबिक़ क़ुरआने करीम के मअना करना और उस अक़ीदह को कुरआने करीम से ततबीक़ देना , जबकि उसके लिए कोई क़रीना या शाहिद मौजूद न हो।
- हमारा मानना है कि क़ुरआने करीम के अलफ़ाज़ को उनके लुग़वी व उर्फ़ी मअना में ही इस्तेमाल किया जाये , जब तक आयत में अलफ़ाज़ के दूसरे मअना में इस्तेमाल होने का कोई अक़्ली या नक़्ली क़रीना मौजूद न हो।
- चाहे इस तरह कि किसी तरफ़ भी कोई क़रीना न हो तहक़ीक़ करने वालों के नज़दीक शक जिहालत की क़िस्मों से है और जिहालत और शक में आम व ख़ास मुतलक़ की निस्बत है कि हर एक शक जिहालत है और जिहालत शक नहीं .
- हाथ का पत्थर किनारे रख दिया तब से जीने का क़रीना आ गया भाई राजेंद्र जी इस बेजोड़ ग़ज़ल के लिए दिली दाद कबूल करें . ..एक एक शेर आपके हुनर की नुमाइंदगी कर रहा है...सुभान अल्लाह...माँ सरस्वती की कृपा आप पर सदा यूँ ही बनी रहे नीरज
- 202 . जिस की तरफ ( ओर ) फ़राख़ रोज़ी ( विस्त्रत जीविकी ) रुख किये हुए हो उसके साथ शिर्कत ( भागीदारी ) करो , क्यों कि उस में दौलत हासिल ( धन प्राप्त ) करने का ज़ियादा इम्कान ( अधिक संभावना ) और खुश नसीबी ( सौभाग्य ) का ज़ियादा क़रीना ( अधिक ढ़ग ) है।
- ज़र्द चेहरों पे क्यों पसीना है ज़िन्दगी जेठ का महीना है काश इक जाम ही उठाते वो ग़म से लबरेज़ आबगीना है खौफ़ तूफ़ान का उन्हें कैसा जिनका मंझधार में सफ़ीना है दिल अँगूठी-सा है मेरा जिसमें आपकी याद इक नगीना है उनको अमृत पिला रहे हैं आप उम्र भर जिनको ज़ह्र पीना है फ़ाक़ामस्तों से पूछिये तो सही मुल्क़ में किस क़दर क़रीना है अब तो तार-ए-नज़र ही ‘साग़र ' ! ज़ख़्म-ए-एहसास हमको सीना है.