छान्दोग्य उपनिषद का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- ( छान्दोग्य उपनिषद 3 । 17 । 4 - 6 ) ।
- छान्दोग्य उपनिषद [ 5 ] में धर्म के तीन स्कन्ध गिनाए गये हैं।
- छान्दोग्य उपनिषद में पांचवें अध्याय के दूसरे खण्ड में इसका विवेचन किया गया है।
- छान्दोग्य उपनिषद में भी इसी भांति ' प्राणतत्त्व ' की श्रेष्ठता दर्शायी गयी है।
- छान्दोग्य उपनिषद [ 7 ] में सोम राजा को देवताओं में भोज्य कहा गया है।
- छान्दोग्य उपनिषद की यह पंक्ति सर्व खल्विदं ब्रह्म : अर्थात ब्रह्म का सबमें निवास है।
- छान्दोग्य उपनिषद ( 3.14 .1 ) का एक मन्त्र है , सर्वं खलु इदं ब्रह्म।
- सामवेद के छान्दोग्य उपनिषद में ऐसा ही एक और महावाक्य है “ तत्वमसि ” ।
- छान्दोग्य उपनिषद [ 5 ] के अनुसार महिदास को 116 वर्ष की आयु प्राप्त हुई।
- छान्दोग्य उपनिषद ( 3.14.1) का एक मंत्र है - सर्वं खलु इदं ब्रह्म . . .।