सूदख़ोरी का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- संभवत : सूदख़ोरी के बारे में परंपरागत पश्चिमी विचारधारा से प्रभावित होकर, पारंपरिक साहूकार की भूमिका की, ख़ास कर आधुनिक व्यष्टि-वित्त के प्रारंभिक दौर में, कड़ी आलोचना की गई.
- और एकाधिकार ( इजारादारी), सूदख़ोरी, अप्राप्त आमदनियों व लाभों को पहले ही निश्चित कर लेने, मंडियों पर क़ब्ज़ा कर लेने, ज़ख़ीरा अन्दोज़ी ;भ्वंतकपदहद्ध बाज़ार का सारा सामान ख़रीदकर कीमतें बढ़ाने के लिए कृत्रिम अभाव पैदा करना, इन सब कामों को इस्लाम ने अवैध घोशित किया है।
- और एकाधिकार ( इजारादारी), सूदख़ोरी, अप्राप्त आमदनियों व लाभों को पहले ही निश्चित कर लेने, मंडियों पर क़ब्ज़ा कर लेने, ज़ख़ीरा अन्दोज़ी ;भ्वंतकपदहद्ध बाज़ार का सारा सामान ख़रीदकर कीमतें बढ़ाने के लिए कृत्रिम अभाव पैदा करना, इन सब कामों को इस्लाम ने अवैध घोशित किया है।
- ऐसे दावे भी किए जा सकते हैं कि सरकार , जो राज्य के बैंकों को ग़रीब उपभोक्ताओं के जमा खाते खोलने का आदेश देती है, अथवा साहूकार, जो सूदख़ोरी में जुटा है, या दातव्य संस्था, जो बछिया घर चलाती है, को व्यष्टि-वित्त में शामिल किया गया है.
- ऐसे दावे भी किए जा सकते हैं कि सरकार , जो राज्य के बैंकों को ग़रीब उपभोक्ताओं के जमा खाते खोलने का आदेश देती है, अथवा साहूकार, जो सूदख़ोरी में जुटा है, या दातव्य संस्था, जो बछिया घर चलाती है, को व्यष्टि-वित्त में शामिल किया गया है.
- और एकाधिकार ( इजारादारी ) , सूदख़ोरी , अप्राप्त आमदनियों व लाभों को पहले ही निश्चित कर लेने , मंडियों पर क़ब्ज़ा कर लेने , ज़ख़ीरा अन्दोज़ी ; भ्वंतकपदहद्ध बाज़ार का सारा सामान ख़रीदकर कीमतें बढ़ाने के लिए कृत्रिम अभाव पैदा करना , इन सब कामों को इस्लाम ने अवैध घोशित किया है।
- और एकाधिकार ( इजारादारी ) , सूदख़ोरी , अप्राप्त आमदनियों व लाभों को पहले ही निश्चित कर लेने , मंडियों पर क़ब्ज़ा कर लेने , ज़ख़ीरा अन्दोज़ी ; भ्वंतकपदहद्ध बाज़ार का सारा सामान ख़रीदकर कीमतें बढ़ाने के लिए कृत्रिम अभाव पैदा करना , इन सब कामों को इस्लाम ने अवैध घोशित किया है।
- यही मामला बैकिंग का है कि थोड़े से बदलाव के बाद , जिससे सूदख़ोरी को बढ़ावा न मिले , बैकिंग भी जायज़ ' करा ' ली गई . नशीली वस्तुओं के उत्पादन या सूदख़ोरी जैसी क्रूर व्यवस्था पर रोक क्या इतनी बड़ी बुराई है कि इसके लिए इस्लाम को कठघरे में खड़ा किया जाए ? नशा , सूदख़ोरी , ज़िस्मफ़रोशी आदि से पेसा कमाना किस समाज में मान्य है .
- यही मामला बैकिंग का है कि थोड़े से बदलाव के बाद , जिससे सूदख़ोरी को बढ़ावा न मिले , बैकिंग भी जायज़ ' करा ' ली गई . नशीली वस्तुओं के उत्पादन या सूदख़ोरी जैसी क्रूर व्यवस्था पर रोक क्या इतनी बड़ी बुराई है कि इसके लिए इस्लाम को कठघरे में खड़ा किया जाए ? नशा , सूदख़ोरी , ज़िस्मफ़रोशी आदि से पेसा कमाना किस समाज में मान्य है .
- यही मामला बैकिंग का है कि थोड़े से बदलाव के बाद , जिससे सूदख़ोरी को बढ़ावा न मिले , बैकिंग भी जायज़ ' करा ' ली गई . नशीली वस्तुओं के उत्पादन या सूदख़ोरी जैसी क्रूर व्यवस्था पर रोक क्या इतनी बड़ी बुराई है कि इसके लिए इस्लाम को कठघरे में खड़ा किया जाए ? नशा , सूदख़ोरी , ज़िस्मफ़रोशी आदि से पेसा कमाना किस समाज में मान्य है .