अपरत्व का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- सूत्रकार के इस कथन में प्रशस्तपाद ने यह बात भी जोड़ी कि वायु में स्पर्श के अतिरिक्त संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व तथा संस्कार ये गुण भी रहते हैं।
- सूत्रकार के इस कथन में प्रशस्तपाद ने यह बात भी जोड़ी कि वायु में स्पर्श के अतिरिक्त संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व तथा संस्कार ये गुण भी रहते हैं।
- * * प्रशस्तपाद के अनुसार तेज में रूप और स्पर्श नामक दो विशेष गुण तथा संख्या , परिमाण , पृथक्त्व संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , द्रवत्व और संस्कार नामक नौ सामान्य गुण रहते हैं।
- * * प्रशस्तपाद के अनुसार तेज में रूप और स्पर्श नामक दो विशेष गुण तथा संख्या , परिमाण , पृथक्त्व संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , द्रवत्व और संस्कार नामक नौ सामान्य गुण रहते हैं।
- दिक्कृत परत्व-अपरत्व- एक ही दशा में स्थित दो द्रव्यों में ' यह द्रव्य इस द्रव्य के समीप है ' - इस प्रकार के ज्ञान के सहयोग से दिशा और वस्तु के संयोग द्वारा समीपस्थ वस्तु में अपरत्व उत्पन्न होता है।
- प्रशस्तपाद ने इन चारों गुणों में दस अन्य गुण यानी संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , गुरुत्व , द्रवत्व और संस्कार जोड़ते हुए यह बताया कि पृथ्वी में चौदह गुण पाये जाते हैं।
- प्रशस्तपाद ने इन चारों गुणों में दस अन्य गुण यानी संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , गुरुत्व , द्रवत्व और संस्कार जोड़ते हुए यह बताया कि पृथ्वी में चौदह गुण पाये जाते हैं।
- ऐसे गुणों में रूप , रस गन्ध , स्पर्श , संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , गुरुत्व , द्रवत्व , स्नेह , शब्द , बुद्धि , सुख , दु : ख , अवश्य स्वीकार करेगा क्योंकि यह कर्म भी इस दर्शन में स्वीकृत चार द्रव्यों का असाधारण धर्म है।
- ऐसे गुणों में रूप , रस गन्ध , स्पर्श , संख्या , परिमाण , पृथक्त्व , संयोग , विभाग , परत्व , अपरत्व , गुरुत्व , द्रवत्व , स्नेह , शब्द , बुद्धि , सुख , दु : ख , अवश्य स्वीकार करेगा क्योंकि यह कर्म भी इस दर्शन में स्वीकृत चार द्रव्यों का असाधारण धर्म है।
- ( १) रूप (colour), (२) रस (taste), (३) गंध (smell), (४) स्पर्श (temperature), (५) संख्या (number), (६) परिमाण-इकाई (unit), (७) पृथकत्व (seprateness), (८) संयोग (conjunction), (९) विभाग (disconjunction), (१०) परत्व (priority largeness), (११) अपरत्व (posteriority smallness), (१२) गुरुत्व (gravity), (१३) द्रवत्व (cohesion), (१४) स्नेहत्व (adhesion), (१५) शब्दवृत्ति (waveaspect), (१६) बुद्धि (cognition), (१७) सुख (pleasure), (१८) दु:ख (pain), (१९) इच्छा (desire), (२०) द्वेष (aversion), (२१) प्रयत्न (voliation), (२२) धर्म (cosmic order), (२३) अधर्म (cosmic degeneracy; entropy), (२४) संस्कार (force) यांत्रिक (mechanical), स्थितिस्थापक (elastic), एवं वेगात्मक (emotional).