नाभादास का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- भक्तिकाल के कवियों में स्वामी अग्रदास के शिष्य नाभादास का विशिष्ट स्थान है।
- नाभादास की कृति भक्तमाल उत्तर भारत के भक्तिकाव्य का विश्वकोश है , 2 .
- सम्भव है नाभादास को कबीर साहब के सभी शिष्यों का वास्तविक पता न हो।
- सूत्रपात करने वाले नाभादास कबीर के गुण गाते हैं : ‘भक्तिविमुख धरम सु सब
- नाभादास जी ये उपर्युक्त अग्रदास जी के शिष्य , बड़े भक्त और साधुसेवी थे।
- इसी प्रकार तुलसीदास के मित्र नाभादास भी एक महिला के प्रेम में विक्षिप्त समान थे।
- नाभादास कृत ' भक्तमाल'[1] में रैदास के स्वभाव और उनकी चारित्रिक उच्चता का प्रतिपादन मिलता है।
- इन तीनों कृतियों में नाभादास की कीर्ति का मूल आधार ' भक्तमाल ' ही है।
- श्री रामानंदाचार्य के शिष्यों में संत कबीर , रैदास, धन्ना, नाभादास का नाम भी शामिल है।
- नाभादास ने अपने भक्तमाल में दो छप्पयों में कबीर के विषय में कुछ सूचनाएँ दी हैं।