संवेद्य का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- संवेद्य छवियाँ अपनी निश्छलता बचाए रखते हुए अपनी प्रौढ़ता से परहेज़ नहीं करतीं , फिर भी रचना का उद्दाम अतिरेक कहीं खंडित नहीं होता ...
- यह वेदना लौकिक वेदना से भिन्न आध्यात्मिक जगत की है , जो उसी के लिए सहज संवेद्य हो सकती है, जिनसे उस अनुभूति-क्षेत्र में प्रवेश किया हो।
- इनकी रचनाएं एक ऐसी संवेद्य रचनाएं हैं जिसमें हमारे यथार्थ का मूक पक्ष भी बिना शोर-शराबे के कुछ कह कर पाठक को स्पंदित कर जाता है।
- संवेद्य ज्ञान की पारदर्शी चेतना में लिपटी , गुंथी और कहीं-कहीं पर लगभग डूबी इन रचनाओं में जीवन का स्पंदन अपने भीतर कहीं झंकार पैदा करता है।
- इनकी रचनाएं एक ऐसी संवेद्य रचनाएं हैं जिसमें हमारे यथार्थ का मूक पक्ष भी बिना शोर-शराबे के कुछ कह कर पाठक को स्पंदित कर जाता है।
- “ जब भी मैं उनसे सम्वाद की आवश्यकता महसूस करता हूँ अपने संग्रह की भूमिका या उनकी चिठ्ठियाँ पढ़ लेता हूँ । ” . ......अति संवेद्य स्मरण...
- और यह पकड़ जीतनी वास्तविक होगी , कवि का संवेद्य उतना ही तीखा व प्रभावशाली होगा . ' बात सिर्फ़ कविता की ही नही है .
- यह वेदना लौकिक वेदना से भिन्न आध्यात्मिक जगत की है , जो उसी के लिए सहज संवेद्य हो सकती है, जिसने उस अनुभूति क्षेत्र में प्रवेश किया हो।
- यह वेदना लौकिक वेदना से भिन्न आध्यात्मिक जगत की है , जो उसी के लिए सहज संवेद्य हो सकती है , जिनसे उस अनुभूति-क्षेत्र में प्रवेश किया हो।
- संवेद्य छवियाँ अपनी निश्छलता बचाए रखते हुए अपनी प्रौढ़ता से परहेज़ नहीं करतीं , फिर भी रचना का उद्दाम अतिरेक कहीं खंडित नहीं होता... अद्भुत काव्य संव्यूहन है भाई...