स्वरित का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- मित्र अशोक कुमार पाण्डेय की यह कविता उसी व्यथा को पूरी शिद्दत से स्वरित कर रही है .
- वेदमंत्रों का उच्चारण उदात्त- अनुदात्त भावों एवं स्वरित क्रम से मध्यवर्ती उतार- चढ़ाव के साथ किया जाता है।
- इनमें ह्रस्व , दीर्घ, प्लुत और स्वरित, इन चार प्रकार के स्वरों का विचार किया जाता है, यथा “अनुष्टुप” इत्यादि।
- इनमें ह्रस्व , दीर्घ, प्लुत और स्वरित, इन चार प्रकार के स्वरों का विचार किया जाता है, यथा “अनुष्टुप” इत्यादि।
- उन्होंने वेदगान में केवल तीन स्वरों के प्रयोग का उल्लेख किया है जो उदात्त , अनुदात्त तथा स्वरित कहलाते हैं।
- अकार के तीन भेद- उदात्त , अनुदात्त और स्वरित भी ह्वस्व-दीर्घ प्लुत भेद से नौ प्रकार के हो जाते हैं।
- समूह के बीच में से मछली , ठेला , बदबू और नाक जैसे शब्द सबसे स्वरित होकर गूँज रहे थे।
- उदात्त , अनुदात्त तथा स्वरित इन तीन प्रकार के स्वरों से युक्त शब्दों का उच्चार वेदपाठ में किया जाता है।
- उदात्त , अनुदात्त और स्वरित के अनुसार होने न होने को इस सामूहिक सम्मेलन में शास्त्रकारों ने छूट दी हुई है।
- इस सिद्धांत के अनुसार काव्य में उदात्त , अनुदात्त , स्वरित स्वरों के भेद के कारण शब्दों का भेद नहीं होता है।