चिमगादड़ का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- टप् ! - वह चौंक कर पीछे हटी , एक कंकड़ी ठीक उसी के पैरों के पास , आकर गिरी - ' चिमगादड़ ! चिमगादड़ ! “ छोकरों का झुण्ड अब सड़क को खुली सुरक्षा में घिरा खड़ा था उनके अगुआ ने बाँहें फटफटाते चिमगादड़ का आकार बनाया - ” वो देखो , काली चिमगादड़ ! ”
- बीते हुऐ दिन राष्ट्रपति के नाम खुला पत्र रजिस्टर्ड ए . ड ी . 31 दिसम्बर 1973 माननीय राष्ट्रपति महोदय , 24 नवम्बर से 1 दिसम्बर 1973 तक हरिद्वार के चिमगादड़ टापू में बाबा जयगुरूदेव जी महाराज का मानव महायज्ञ सम्पन्न हुआ जिसमें 60 लाख नर- नारियों एवं बच्चों ने भाग लिया जिसमें से दस लाख लोग स्थायी रूप से बराबर रहे।
- भरतपुर राजस्थान में 30 दिसम्बर 1973 भरतपुर राजस्थान में 30 दिसम्बर 1973 को बाबा जयगुरूदेव जी महाराज ने बिरला फैक्ट्री स्कूल के मैदान में 10 हजार से ऊपर नर-नारियों को सम्बोधित करते हुऐ कहा कि हरिद्वार में महामानव यज्ञ सम्पन्न हुआ जिसमें 10 लाख से ऊपर नर-नारी बराबर स्थायी रूप से चिमगादड़ टापू के विशाल मैदान और जंगल में उपस्थित थे।
- बिल्कुल अलग ही दुनिया की बात लगती है जहाँ दादी परम्परा की रक्षा के लिए अपनी पोशन की ह्त्या की वकालत करती है , पिटा बच्चे को बन्दूक के गज से इतना मारता है की वह दो दिन तक उठ न सके, और दो साल का बालक चिमगादड़ का खून पीता है, उस दुनिया में रहकर बिस्मिल जी की विचारवान सोच अनुकरणीय है.
- बिल्कुल अलग ही दुनिया की बात लगती है जहाँ दादी परम्परा की रक्षा के लिए अपनी पोशन की ह्त्या की वकालत करती है , पिटा बच्चे को बन्दूक के गज से इतना मारता है की वह दो दिन तक उठ न सके , और दो साल का बालक चिमगादड़ का खून पीता है , उस दुनिया में रहकर बिस्मिल जी की विचारवान सोच अनुकरणीय है .