मकतूल का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- ‘ देखिये लोकतंत्र संख्या का खेल है , लोकतंत्र में न्याय भी संख्या बल का मुहताज होता है , संख्या जुटानी पड़ती है उसके लिये सही तरीका है मकतूल को पहले से बदनाम करो , लोग अगर आपके खिलाफ हों तो मकतूल को भी घृणा से ही देखें जैसे मारिया केस में मकतूल नीरज पर भी कास्टिंग काउच का आरोप लगा हुआ है '
- ‘ देखिये लोकतंत्र संख्या का खेल है , लोकतंत्र में न्याय भी संख्या बल का मुहताज होता है , संख्या जुटानी पड़ती है उसके लिये सही तरीका है मकतूल को पहले से बदनाम करो , लोग अगर आपके खिलाफ हों तो मकतूल को भी घृणा से ही देखें जैसे मारिया केस में मकतूल नीरज पर भी कास्टिंग काउच का आरोप लगा हुआ है '
- हाँ अगर मकतूल इशरत की जगह कोई ईश्वरी होती और कातिलों के नाम मोदी , कुमार , सिंह , वगैरा की जगह खान अहमद आदि होते , तब तो दो साल भी नहीं लगते और फाँसी पर लटकाकर कत्ल कर दिये गये होते जैसा कि सोनिया गांधी नामक रिमोट से चलने वाली कांग्रेस बाहुल्य मनमोहन सिंह सरकार के इशारे पर कानून मुस्लिम बेगुनाहों के साथ करता रहा है।
- और अगर गलती से तुम उस के मुर्तकिब हो जाओ और सज़ा देने में तुम्हारा कोड़ा या तलवार या हाथ हद से बढ़ जाए , इस लिये की कभी घूंसा और उस से भी छोटी ज़र्ब हलाकत का सबब हो जाया करती है , तो ऐसी सीरत में इक्तेदार के नशे में बेखुद हो कर मकतूल का खूं बहा उस के वारिसों तक पहुंचाने में कोताही न करना।
- मकतूल थे हम , मकतल मेरा दिल बनाया, कब्र पहोचाके उसने आंखो को झिल बनाया, वाह रे उनकी महोब्बत ? उसको क्या कहेना, जीने नही दिया,मरने को भी मुश्किल बनाया, आलि माने थे पर दिये उसने आबेचश्म मुजे, सीतम सहकर भी उसे हमने बिस्मिल बनाया, चश्मेजाम पी के मखमूर बन अदम हो गये थे, आशुफ्तः हो कर भी हमने उसे साहिल बनाया, महोब्बत कि राह के वोह काहिल क्यों रह गये?
- वो जो दिखती है चेहरे पर या वो जो कत्ल के बाद लाश पे रोती है ये शान्ति है / या बन्दरों के आखों की चमक जिनके हाथों में सत्ता का अस्तूरा है उन्हें नहीं सुनाई देतीं कराहती आहें ;वो ‘बुरा नहीं सुनते' पर ‘बुरा' भी नहीं सुनतेद्ध ये कैसी शान्ति के सब शान्त कातिल भी मकतूल भी बुरा है कत्ल करते देख लेना विरोध का स्वर उससे भी बुरा तो बापू!
- अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता ने दौरान बहस यह भी तर्क दिया कि तकनीकी परीक्षणकर्ता श्री चन्ददत्त जोशी , पी0डब्ल्यू0-3 द्वारा भी मोटरसाईकिल के आगे की लाईट व बॉडी ठीक होना कहा गया है, जिससे यदि आमने-सामने से टक्कर हुई होती, तो मोटरसाईकिल के आगे का भाग टूटा हुआ होता तथा विवेचक हरीश चन्द्र जोशी, पी0डब्ल्यू0-4 द्वारा गवाह की निशानदेही पर चालक त्रिलोक चंद को मझोला चौकी के पास पिछौड़ा सिहं पुत्र श्री मकतूल सिहं के बंद पड़े ढाबे के पास से गिरफ्तार करना कहा गया है।
- ये शान्ति है / या बन्दरों के आखों की चमक जिनके हाथों में सत्ता का अस्तूरा है उन्हें नहीं सुनाई देतीं कराहती आहें ; वो ‘ बुरा नहीं सुनते ' पर ‘ बुरा ' भी नहीं सुनतेद्ध ये कैसी शान्ति के सब शान्त कातिल भी मकतूल भी बुरा है कत्ल करते देख लेना विरोध का स्वर उससे भी बुरा तो बापू ! हमें फिर से बताओ शान्ति क्या होती है वो जो दिखती है चेहरे पर या वो जो हर उत्सव के बाद / राजघाट धोती है