सत्वगुण का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- श्री महालक्ष्मी जो तमोगुण रूप धारण कर महाकाली भी कहलाईं , सत्वगुण संपन्ना होने पर महासरस्वती हैं।
- लेकिन इसके लिए सत्वगुण का आधिक्य होना चाहिए , यानी कि दही ज्यादा होना चाहिए । ”
- यदि बालक की प्रकृति में सत्वगुण अध्कि हो तो उनमें स्थित ज्ञान अपने आप जागृत होता है।
- रज और तम हट जाने पर और सत्वगुण के बढ़ जाने से तो मोक्ष हो जाता है ।
- उन्होंने सम्पूर्ण विश्व को शून्य देखकर तमोगुण से चतुर्भुजी महाकाली और सत्वगुण से महासरस्वती को प्रकट किया .
- सत्वगुण की सूचक महा सरस्वती हैं , तमोगुण की सूचक महाकाली हैं और रजोगुण की सूचक महालक्ष्मी हैं।
- सत्वगुण का उदय होते ही शिष्य अपने अन्दर से ही प्रकाश मिलने से ज्ञान प्राप्त कर सकते थे।
- चूंकि मां सरस्वती की उत्पत्ति सत्वगुण से मानी जाती है , इसलिए इन्हें श्वेत वर्ण की सामग्रियां विशेष प्रिय हैं।
- उस समय सत्वगुण से युक्त सर्वव्यापी , सर्वात्मा नारायण जल के मध्य में कमल पर शयन कर रहे थे।
- यह भी सत्य है क्योंकि उनमें भी सत्वगुण और तामसी गुण कभी न कभी अपना प्रभाव डाल सकते हैं।