सिलवाई का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- एक अन्य उदहारण हमारे एक परिचित बुजुर्गवार बताते हैं कि जब वे नौकरी में थे तो 65 या 66 के सन में उन्होंने एक पालीस्टर की शर्ट सिलवाई पर पहन नहीं सके।
- उसी किताब से पता चला कि मेरी नई की नई तीनों रंगीन शर्टस जो अचानक गायब हो गई थीं वो तुमने चुराई थी और मुहल्ले के टेलर से उसकी कमीज और पतल्ून सिलवाई थी।
- विवाह में पहनने के लिये दस हजार रुपये की अचकन सिलवाई गई तो लघुपतनक घिघियाया-‘अचकन नामक कपड़ा जीवन में केवल एक बार पहना जाता है और देखने में भी बुरा लगता है इसलिये कोट , पैण्ट और टाई धारण करूंगा।'
- पहली तो वह थी जब हम छठी में पढ़ते थे और हमारे बापू ने पजामे के कपडे को खाकी रंग में रंगवा कर हमारे लिए जीवन की पहली पेंट सिलवाई थी और तब हमारे पड़ोस में रहने वह आई थी . .
- मुझे लगा अब यह पूछेंगे सुषमा जी आपने भी तो नई साडी पहनी थी , जेटली ने नई शर्ट अभी सिलवाई थी फिर भी कैसे..? शुक्र है ये महानुभाव यूपीए की जीत को राहुलगाँधी के कुर्ते - पजामे की जीत नहीं बता रहे।
- दादाश्री : मृत्यु तो , ऐसा है न , यह कमीज़ सिलवाई अर्थात् कमीज़ का जन्म हुआ न , और जन्म हुआ , इसलिए मृत्यु हुए बगैर रहती ही नहीं ! किसी भी वस्तु का जन्म होता है , उसकी मृत्यु अवश्य होती है।
- सांप्रदायिक सद्भाव की एक अनुपम मिसाल के रूप में शहर में अधिकांशत : मुस्लिम भाइयों द्वारा संचालित होने वाले बैंड दल भी इस दिन विशेष रूप से सिलवाई हुई वर्दियों और आकर्षक सज्जा वाले रथों के साथ बिना किसी मेहनताने के भगवान महाकाल की सेवा में अपनी हाजिरी बजाते हैं।
- तुम्हें मालूम है कि हमारी बिटिया ने बडे चाव से दो दर्जन नई ड्रेस सिलवाई थी , अब हो गई न सारी की सारी बेका र. ........ ! हम परेशान भला कालेज जाने के लिऐ दो दर्जन ड्रे स. ........ ? हमने कहा- श्रीमती जी कालेज जाने के लिऐ भला इतनी सारी ड्रेस सिलवाने की क्या जरूरत थी ..
- मैं अपनी होली अपनी कल्पनाओं में अपनी तीन प्रेमिकाओं के साथ मनाना चाहूँगा जिनसे आम हिन्दुस्तानी की भांति इक तरफ़ा प्यार किया था . ..पहली तो वह थी जब हम छठी में पढ़ते थे और हमारे बापू ने पजामे के कपडे को खाकी रंग में रंगवा कर हमारे लिए जीवन की पहली पेंट सिलवाई थी और तब हमारे पड़ोस में रहने वह आई थी..
- माँ ऐ माँ देख पिछली दिवाली पर काँट-छाँट कर मालिक की उतरन से जो तुमने पेन्ट सिलवाई थी अब घुटनें बाहर झांकने लगे है ॰ माँ तुम चिन्ता मत करो मैने दर्जी से बात कर ली है दो चड्डियाँ सिल देगा गुल्लु के लिए माँ मैने सुना है फिर से दिवाली आने वाली है ॰ ऐ माँ मालिक को बोल ना पिछली बार की तरह कोई उतरन ॰