हँसुली का अर्थ
उदाहरण वाक्य
- ॥अमृता प्रीतम॥जिसे बनाया वृद्ध पिता के श्रम जल नेदादी की हँसुली ने माँ की पायल नेउस कच्चे घर की कच्ची दीवारों परमेरी टाई टँगने में कतराती है।
- आज जीवन में पहली बार पन्ना को रग्घू पर विश्वास आया , बोली-जब गहना ही बेचना है , तो अपनी मुहर क्यों बेचोगे ? मेरी हँसुली ले लेना।
- जिसे बनाया वृद्ध पिता के श्रमजल ने दादी की हँसुली ने , माँ की पायल ने उस सच्चे घर की कच्ची दीवारों पर मेरी टाई टँगने से कतराती है।
- जिसे बनाया वृद्ध पिता के श्रम जल ने दादी की हँसुली ने माँ की पायल ने उस कच्चे घर की कच्ची दीवारों पर मेरी टाई टँगने में कतराती है।
- ऐरन , बाजू बैरक्खी , हँसुली , हवेल , झुमकी , माथबेंदी और भी पता नहीं क्या-क्या ? संतोख के मुंह से कभी हाँ निकल जाता है , कभी ना।
- ऐरन , बाजू बैरक्खी , हँसुली , हवेल , झुमकी , माथबेंदी और भी पता नहीं क्या-क्या ? संतोख के मुंह से कभी हाँ निकल जाता है , कभी ना।
- ऊँची श्वास क्रियाः-- में पसलियों को उठा एवं हँसुली की हड्डी तथा कन्धोंको ऊपर उभाड़ एवं साथ ही पेट को भीतर खींचा जाता है एवं उसके अन्दर कीचीजों को ऊपर खींचकर छाती और पेट को अलग करने वाली चद्दर से भिड़ा देताहै , जो चद्दर भी ऊपर खिंच जाती है.
- उत्तर बस्तर में छत्तीसगढी संस्कृति का प्रभाव भी गुदने में देखा जाता है जिस कारण माछी ( मक्खी ) , बिच्छी , पौअँडी ( पायल ) , खाडू ( पग वलय ) बाहाँ-चेघा ( बाँहटा ) और सिइता ( हँसुली ) आदि नामो के गोदने कांकेर और निकटवर्ती क्षेत्रों में प्रचलित हैं।