मदनलाल मधु वाक्य
उच्चारण: [ mednelaal medhu ]
उदाहरण वाक्य
- प्रवासी कवियों में जहां वेदप्रकाश ' वटुक ' (अमेरीका) और मदनलाल मधु (रूस) ने अपनी कविताओं और गीतों से समा बांधा, वहीं डॉ. सत्येन्द्र श्रीवास्तव (ब्रिटेन) ने अपने ही अंदाज और तेवर की कविताएं प्रस्तुत कर खूब वाहवाही लूटी।
- इसके अतिरिक्त कार्यक्रम में माखनलाल चतुर्वेदी, जयशंकर प्रसाद के गीत, बालस्वरूप राही व सोहन राही (ब्रिटेन) की ग़ज़लें, मदनलाल मधु (रूस) व सत्येन्द्र श्रीवास्तव (ब्रिटेन) के गीतों के साथ-साथ शशिकांत की ग़ज़ल व नरेश शांडिल्य के दोहों की भी संगीतमय प्रस्तुति हुई।
- विदेशों से रूस के भारत में सांस्कृतिक काऊंसलर श्री दिमित्र चैलिशौव, जापान के प्रोफेसर इशेदा, ओसाका विश्वविद्यालय के डॉ. चैतन्य प्रकाश, रूस के मदनलाल मधु अमेरिका की श्रीमती कुसुम व्यास और श्रीमती सुदर्शना प्रियदर्शनी, ब्रिटेन से डॉ. अंजनी कुमार, के. बी. एल सक्सेना, श्रीमती सुलेखा चोपला, कनाडॉ.
- इसके अलावा, विदेशी हिंदी विद्वान वर्ग में दिए जाने वाले जार्ज ग्रियर्सन पुरस्कार से डा शमतोव आजाद (उजबेकिस्तान) और डा उ जो किम (दक्षिण कोरिया) को सम्मानित किया जायेगा और विदेशों में हिन्दी के प्रसार के लिए मोटूरि सत्यनारायण पुरस्कार से मदनलाल मधु (रूस) और तेजेंद्र शर्मा (इंग्लैंड) को सम्मानित किया जाएगा।
- इनमें मुख्य थे-(विदेश से) सत्येंद्र श्रीवास्तव, मदनलाल मधु, श्याम त्रिपाठी, सुधा ढींगरा, पद्मेश गुप्त, निखिल कौशिक, शैल अग्रवाल, और (देश से) कैलाश वाजपेयी, बालस्वरूप राही, सोम ठाकुर, मुनव्वर राणा, अनिल जोशी, नरेश शांडिल्य, गजेंद्र सोलंकी, राजेश चेतन, सरिता शर्मा, लक्ष्मीशंकर वाजपेयी, शशिकांत आदि।