आस का पंछी वाक्य
उच्चारण: [ aas kaa penchhi ]
उदाहरण वाक्य
- आस का पंछी...... उड़े निर्बाध जब... खिले सृजन.... कैसे रचाऊँ.. नित नया सृजन... ये शब्द पूछें...!! उड़े बयार..... श...
- तो उनकी फ़रमाइश है फ़िल्म ' आस का पंछी ' से, “ तुम रूठी रहो मैं मनाता रहूँ कि इन अदाओं पे और प्यार आता है ” ।
- १ ९ ६ १ में ' आस का पंछी ', और १ ९ ६ ४ में ' आई मिलन की बेला ' की कामयाबी के बाद तो उन्होने जैसे इस तरह के फ़िल्मों की कतार ही खड़ी कर दी।
- बहुत भावुकता से उन्होनें अपनी पढाई की बात की और इसका अहसास उनके पिताश्री ने उनकी पहली फ़िल्म आस का पंछी की रजत जयन्ती के समय दिलाया कि वो अधिकारी बनकर अपनी सृजनशीलता को इतने लोगों तक नहीं पहुँचा पाते।
- दिल मेरा एक आस का पंछी, उड़ता है उँचे गगन परपहुँचेगा एक दिन कभी तो चाँद की उजली जमीं पर)-२दिल मेरा एक आस का पंछी(ये दुनिया है नौजवानों की, ज़माना है नौजवानों काहवायें भी गुनगुनाती हैं, तराना हम नौजवानों का)-
- वातावरण के प्रभावों को झेलते हुए आखिर उसके मन में भी तो आता होगा कि बिना उससे हरेपन की उम्मीद लगाये कोई उसे स्नेहपूर्ण छाँव दे, उसकी सूखी डाली पर आस का पंछी गाता रहे, ऐसी कोई व्यवस्था हो नियति के द्वारा.....
- लोकप्रिय रोमांटिक गीत सुनवाए-ठाकुर जरनैल सिंह, गुमराह, शोला और शबनम, वो कौन थी, आस का पंछी फिल्मो से और रूप तेरा मस्ताना फिल्म से लताजी का गाया बहुत ही कम सुना जाना वाला यह गीत भी फरमाइश पर अंत में सुनवाया गया-देख लो इधर भी
- लोकप्रिय रोमांटिक गीत सुनवाए-ठाकुर जरनैल सिंह, गुमराह, शोला और शबनम, वो कौन थी, आस का पंछी फिल्मो से और रूप तेरा मस्ताना फिल्म से लताजी का गाया बहुत ही कम सुना जाना वाला यह गीत भी फरमाइश पर अंत में सुनवाया गया-देख लो इधर भी
- AMअंगड़ाई पर अंगड़ाई लेती है रात जुदाई की तुम क्या समझो तुम क्या जानो बात मेरी तन्हाई की कौन सियाही घोल रहा था वक़्त के बहते दरिया में मैंने आँख झुकी देखी है आज किसी हरजाई की उड़ते-उड़ते आस का पंछी दूर उफ़क़ में डूब गया रोते-रोते बैठ गई आवाज़ किसी सौदाई की
- हम आज तक खामोश है और बो भी कुछ कहते नहीं दर्द के नगमो में हक़ बस मेरा नजर आता है देकर दुयाए आज फिर हम पर सितम बो कर गए अब क़यामत में उम्मीदों का सवेरा नजर आता है क्यों रोशनी के खेल में अपना आस का पंछी जला हमें अँधेरे में हिफाज़त का …