जनम कुंडली वाक्य
उच्चारण: [ jenm kunedli ]
उदाहरण वाक्य
- मैंने आपके कहे अनुसार तालेवाला उपाए किया हे ईश्वर की कृपा से यह उपाए कितने दिनों में असर करता हे कृपया मेरी जनम कुंडली के अनुसार अगर कोई और उपाए करना हो तो बताएं जिससे मेरी समस्या जल्द सुलझ सके आपकी कृपा होगी,
- मैंने आपके कहे अनुसार तालेवाला उपाए किया हे ईश्वर की कृपा से यह उपाए कितने दिनों में असर करता हे कृपया मेरी जनम कुंडली के अनुसार अगर कोई और उपाए करना हो तो बताएं जिससे मेरी समस्या जल्द सुलझ सके आपकी कृपा होगी, धन्यवाद्
- संस्कृतनिष्ठ हिंदी के पैरोकार परोफेसर साहेब टपोरी बोली पर कैसे उतर आए? इससे पहिले कि हम कुछो बोलते, परोफेसर साहेब सफाई देने लगे-हैरान काहे होते हो? सब समय की माया है, ऊ किसी भी चीज की जनम कुंडली बदल सकता है।
- एक कुण्डली (जिसे जन्म-कुण्डली, जनम कुंडली, जन्म पत्रिका, जन्मपत्री, वैदिक कुण्डली, हिन्दू कुण्डली आदि नामों से भी जाना जाता है) नक्षत्रों और ग्रहों की उन सटीक स्थितियों को दर्शाती है, जो जातक के जन्म के समय आकाश में थीं।
- मे अछे नम्बर नही लाते तो कोई बोलते नौवें स्थान मे ये गृह बैठा होता पांचवे मे ये गृह जनम कुंडली मे होता …कारण ये नही है कि कुंडली में अमुक गृह बैठा है…कारण तो ये होता है कि कमजोर मनोबल, भय होता है….जीभ तालू मे लगाये और
- सबको प्यार भरा नमस्कार! जिस प्रकार से सबका कोई ना कोई जनम दिन होता है ऐसे ही हमारा जनम दिन भी है, सही है या गलत ये हमें पता नहीं जी, हमें तो इतना पता है कि हमारी एक जनम कुंडली बनी हुई है जिसमे ये लिखा है की ये महा-पुरुष 4.
- जनम कुंडली में बुध अस्त, नीच या शत्रु राशि का, छटे-आठवें-बारहवें भाव में स्थित हो, पाप ग्रहों से युत या दृष्ट, षड्बल विहीन हो तो उदर रोग, त्वचा विकार, विषम ज्वर, कंठ रोग, बहम, कर्ण एवम नासिका रोग, पांडू, संग्रहणी, मानसिक रोग, वाणी में दोष, इत्यादि रोगों से कष्ट हो सकता है |
- जनम कुंडली में गुरु अस्त, नीच या शत्रु राशि का, छटे-आठवें-बारहवें भाव में स्थित हो, पाप ग्रहों से युत या दृष्ट, षड्बल विहीन हो तो ऊँचाई से पतन, शरीर में चर्बी की वृद्धि, कफ विकार, मूर्च्छा, हर्निया, कान के रोग, स्मृति विकार, जिगर के रोग, मानसिक तनाव, रक्त धमनी से सम्बंधित रोग करता है |
- तब तो आपके द्वारा किया गया फलित मात्र अनुमान ही तो रह जायेगा ना. यदि सही जन्म कुंडली हो तो फल कथन भी सत्य होगा और सत्य होगा जीवन के प्रत्येक पक्षों का दिग्दर्शन भी.(चित्र में जनम कुंडली में जो भाव क्रमाक दिए गए हैं,ये बदलते नहीं हैं ये स्थाई हैं, हाँ ये जरूर हैं की,ज्योतिष की गणित के हिसाब से इन भाव में आने वाले अंक बदल जाते हैं.
- हमारी माता बोली की प्रभु जग हंसाई हो जायेगी, आप बाल रूप में आ जाइए तो हम बाल रूप मैं आ गए जी! कुछ दिनों बाद जब हमारी जनम कुंडली बनाने पंडित जी पधारे तो वो जनम समय के ग्रहों की स्थिति देख कर दंग हो गए!!.. बोले:-की इस बच्चे की कुंडली में विशेष योग है, ये असीम ग्यानी है, दुनयावी पढाई तो इसके योग में कम है लेकिन अलौकिक ज्ञान का भण्डार इसके पास अथाह होगा!!