राज्य की उत्पत्ति वाक्य
उच्चारण: [ raajey ki utepteti ]
उदाहरण वाक्य
- (रामशरण शर्मा, भारत में राज्य की उत्पत्ति, पृष्ठ 18) कई अनुष्ठानों में राजन्य और ब्राह्मण मिलकर विश् और शूद्र का सामना करते थे।
- राज्य की उत्पत्ति इस बात की स्वीकारोक्ति थी कि समाज ऐसे अन्तर्विरोधों में फँस गया है जिन्हें हल नहीं किया जा सकता, जिन का समाधान असंभव है।
- राज्य की उत्पत्ति इस बात की स्वीकारोक्ति थी कि समाज ऐसे अन्तर्विरोधों में फँस गया है जिन्हें हल नहीं किया जा सकता, जिन का समाधान असंभव है।
- अब आप इस विषय पर विचार कर ही रही हैं तो आप को एंगेल्स की पुस्तक ' परिवार, निजी संपत्ति और राज्य की उत्पत्ति ' तथा Lewis H.
- एंगेल्स ने अपने प्रसिद्द ग्रन्थ ' परिवार निजी संपत्ति और राज्य की उत्पत्ति ' में समलैंगिकता को ' अप्राकृतिक ' ' विकृति ' और ' नैतिक पतन ' की संज्ञा दी थी।
- ‘ टाईम ' पत्रिका की यह चर्चा हमें अनायास ही फ् रेडरिक एंगेल्स की अमर कृति ‘ परिवार, निजी संपत्ति और राज्य की उत्पत्ति ' की याद को ताजा कर देती है।
- प्रथमत: सामाजिक संविदा-विशेष, जिसके अनुसार प्राकृतिक अवस्था में रहने वाले कुछ व्यक्तियों ने संगठित समाज में प्रविष्ट होने के लिए आपस में संविदा या ठहराव किया, अत: यह राज्य की उत्पत्ति का सिद्धांत है।
- प्रथमत: सामाजिक संविदा-विशेष, जिसके अनुसार प्राकृतिक अवस्था में रहने वाले कुछ व्यक्तियों ने संगठित समाज में प्रविष्ट होने के लिए आपस में संविदा या ठहराव किया, अत: यह राज्य की उत्पत्ति का सिद्धांत है।
- व्यक्ति राज्य का एक अल्प लेकिन महत्त्व पूर्ण अंग हैं इस अंग से समाज का निर्माण होता है और समाज से राज्य की उत्पत्ति होती हैं प्रत्येक मनुष्य में राज्य के भाव निहित होते हैं।
- इस संविदा या ठहराव का राज्य की उत्पत्ति से कोई संबंध नहीं वरन् राज्य के अस्तित्व की पूर्व कल्पना कर यह उन मान्यताओं का विवेचन करता है जिन पर उस राज्य का शासन प्रबंध चले।