उदर शूल वाक्य
उच्चारण: [ uder shul ]
उदाहरण वाक्य
- यह नेत्र एवं वाणी दोष, मुंह और गले के रोग, उदर शूल और पुराने विष का प्रभाव नष्ट करता है।
- यह चूर्ण 6 ग्राम सुबह और 6 ग्राम शाम को भोजनोपरानत सेंवन करने से समस्त प्रकार के उदर शूल दूर होते है।
- कोष्ठबद्धता, आध्मान (अफारा), अम्लपित्त, अतिसार, अजीर्ण, प्रवाहिका आदि रोगों में तीव्र उदर शूल होती है।
- -इसकी जड़ को हींग के साथ पीसकर बच्चों के पेट पर लेप करने मात्र से उदर शूल में लाभ मिलता है I
- उदर शूल में तुलसी दलों को मिश्री के साथ देते हैं तथा संग्रहणी में बीज चूर्ण 3 ग्राम सुबह-शाम मिश्री के साथ ।
- आयुर्वेदिक मतानुसार भी यह वातानुलोमक होने से उदर शूल में, मधुर होने से आमाशयगत अम्लाधिक्य व अम्ल पित्त में लाभकर होती है ।
- | 6) उदर शूल-एक तोला चणकक्षार में एक माशा सेंधा नमक मिलाकर पीने से सब प्रकार के उदर शूल नष्ट हो जाते हैं
- | 6) उदर शूल-एक तोला चणकक्षार में एक माशा सेंधा नमक मिलाकर पीने से सब प्रकार के उदर शूल नष्ट हो जाते हैं
- उदर शूल हर चूर्ण-अजवायन 12 ग्राम काली मिर्च 12 ग्राम, काला नमक 6 ग्राम, सौठ 12 ग्राम तथा बड़ी इलायची 12 ग्राम।
- यह स्थिति आईबीएस बीमारी न होकर लक्षणों का एक समूह है जिसमें प्रमुख है उदर शूल, ऐंठन (मरोड़), अतिसार और कब्जी.