मधुपर्णी का अर्थ
[ medhuperni ]
मधुपर्णी उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञा- एक बहुवर्षी,आरोही, औषधीय बेल जिसके पत्ते पान के पत्ते के समान होते हैं:"गिलोय के पुष्प गुच्छों में और पीले रंग के होते हैं"
पर्याय: गिलोय, गुरुच, गुड़ची, गुड़च, गुर्च, अमरा, वत्सादनी, सोमवल्ली, शुद्ध-वल्लिका, शुद्धवल्लिका, गुडूची, अमृतलता, अमृतलतिका, अमृतवल्लरी, अमृतसंभवा, अमृतसम्भवा, गुड़ुच, गुरूच, गुड़ुची, पित्तघ्नी, अमृता, तंत्रिका, तन्त्रिका, कुंडलिनी, कुण्डलिनी, गुडची, अरिष्ट, कुंडली, कुण्डली, वरा, शशिलेखा, छिन्ना, इंदुरेखा, इंदु-रेखा, इन्दुरेखा, इन्दु-रेखा
उदाहरण वाक्य
- मधुपर्णी , अमृता , तंत्रिका , कुण्डलिनी गुडूची आदि इसी के नाम हैं।
- यह समस्त भारतवर्ष में पायी जाती है , इसे गुडूची , अमृता , मधुपर्णी , तंत्रिका , कुण्डलिनी जैसे नाम दिए हैं आयुर्वेद में इसे ज्वर की महानौषधि मानते हुए जीवन्तिका नाम दिया है।
- यह समस्त भारतवर्ष में पायी जाती है , इसे गुडूची , अमृता , मधुपर्णी , तंत्रिका , कुण्डलिनी जैसे नाम दिए हैं आयुर्वेद में इसे ज्वर की महानौषधि मानते हुए जीवन्तिका नाम दिया है।
- वैसे तो उत्तर प्रदेश में यह गिलोय और गुरूच के नाम से विख्यात है किन्तु विभिन्न प्रान्तों में यह अमृतवल्ली , गिलो , गुलवेल , मधुपर्णी , गुडूची , गलो , आदि नामो से जाना जाता है .
- वैसे तो उत्तर प्रदेश में यह गिलोय और गुरूच के नाम से विख्यात है किन्तु विभिन्न प्रान्तों में यह अमृतवल्ली , गिलो , गुलवेल , मधुपर्णी , गुडूची , गलो , आदि नामो से जाना जाता है .