रसनायक का अर्थ
[ resnaayek ]
रसनायक उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञा- एक सफेद, बहुत वजनी और चमकीली धातु जो साधारणतः द्रव रूप में रहती है:"पारा ही एक ऐसी धातु है जो द्रव अवस्था में पायी जाती है"
पर्याय: पारा, पारद, पारत, रुद्ररेता, अमर, रसपति, रसनाथ, शंभुतेज, शम्भुतेज, शिववीय, रेत, रेतस्, सिंधुज, सिन्धुज, सिद्धधातु, दिव्यरस, महातेज, स्कंदशक, स्कन्दशक, मुकुंद, मुकुन्द, जैत्र, शंकरशुक्र, अवित्यज, मृत्युनाशक, रसधातु, अशोक, महारस, पर्वतोद्भव, सर्व
उदाहरण वाक्य
- शृंगार को रसनायक और देव कवि ( 18वीं शती ई.) सब रसों का मूल मानते हैं।
- श्रृंगार को रसनायक और देव कवि ( 18वीं शती ई.) सब रसों का मूल मानते हैं।
- हिंदी में केशवदास ( 16 वीं शती ई. ) शृंगार को रसनायक और देव कवि ( 18 वीं शती ई. ) सब रसों का मूल मानते हैं।