त्रस का अर्थ
[ ters ]
त्रस उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञा- वह स्थान जहाँ बहुत दूर तक पेड़-पौधे, झाड़ियाँ आदि अपने आप उगी हों:"पुरातन काल में ऋषि-मुनि जंगलों में निवास करते थे"
पर्याय: जंगल, वन, बन, अरण्य, अरण्यक, कानन, विपिन, बियावान, बियाबान, बयाबान, वादी, अरन्य, अरन, अटवी, उजाड़, समज, द्रुमालय, आरन, उजार - वायु में भरे हुए वे बहुत सूक्ष्म कण जो प्रायः छेद में से आनेवाली धूप में उड़ते हुए दिखाई देते हैं:"त्रसरेणु आकार में बहुत छोटे होते हैं"
पर्याय: त्रसरेणु, हेमरेणु, सुरेणु - बड़े और घने जंगली क्षेत्र में स्थित पेड़-पौधे या अन्य वनस्पतियाँ:"प्रकृति की परवाह न करते हुए मनुष्य जंगल को काट रहा है"
पर्याय: जंगल, वन, अरण्य, कानन, अरन, अरन्य
उदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- ७ अनछ्ने पानी में कितने त्रस जीव होते हैं ?
- भ्रष्टाचार चरम पर , आम जनता भ्रष्ट व्यवस्था से त्रस...
- त्रस स्थावर शरीर अनंता , पाया बारंबार।
- एकेन्द्रिय जीवों को स्थावर और द्वीन्द्रियादि इतर सब जीवों को त्रस संज्ञा दी गई है।
- त्रस नामकर्म - जिसके उदय से द्वीन्द्रियादिक जीवों में उत्पन्न हो , उसे त्रस नामकर्म कहते हैं।
- त्रस नामकर्म - जिसके उदय से द्वीन्द्रियादिक जीवों में उत्पन्न हो , उसे त्रस नामकर्म कहते हैं।
- अर्थात : महावीर स्वामी कहते हैं कि जो इस बात को जानता है कि कौन प्राणी त्रस है , कौन स्थावर है।
- मनुष्य पशु पक्षी मछली आदि स्थूल त्रस जीव है , वे ठंड-गर्मी , भय-त्रास आदि से बचाव के लिए हलन-चलन में सक्षम है।
- बंधइ पावयं कम्मं तं से होइ कडुयं फलं ॥ जो आदमी बोलने में असावधानी बरतता है , वह त्रस और स्थावर जीवों की हिंसा करता है।
- इस लोक में जितने भी त्रस जीव ( एक, दो, तीन, चार और पाँच इंद्रिय वाले जीव) आदि की हिंसा मत कर, उनको उनके पथ पर जाने से न रोको।